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गुरुवार, 8 अप्रैल 2021

अर्थ

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कलयुग में
तार-तार होते रिश्ते
और
बलात्कार का अर्थ जान चुकी
बेटी की चिंता
माँ को दिन-रात सताने लगी
वो सोच रही थी
कि
कैसे बेटी का भय दूर कर पाऊंगी
वो
कुछ कह पाती
इससे पहले ही
बेटी ने
माँ से कहा
आज से
मैं पापा के साथ स्कूल नहीं जाऊंगी।


हाथ

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स्त्री जाति की
विडम्बना देखो
चाहें
बच्ची हो या
जवान औरत
उसके हाथ
कभी खाली नहीं रहते हैं
बचपन
स्कर्ट नीचे करने में
और
जवानी
दुपट्टा ठीक करने में
व्यस्त रहते हैं।

साथ

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औरत
हमेशा ही
पुरूष के पीछे-पीछे चली
फिर भी
आश्वस्त होने को
पुरूष ने
जब पीछे मुड़कर देखा
तो
कभी निराश नहीं हुआ
क्योंकि
वो साथ थी।